डॉ. ज्योत्स्ना शर्मा
भारत का ,भारती का
शोभन शृंगार हिंदी ,
माँ! अनेक आभरण हैं ,
हुई कण्ठहार हिंदी !
प्रगति का ,परम्परा का
सुखदायी योग तुझमें ,
ममता और त्याग ,भक्ति
ओजस नियोग तुझमें ।
पीयूष-पयोधि, रस का ,
अतुलित आगार हिंदी ।।
भारत का, भारती का
शोभन शृंगार हिंदी ,
माँ ! अनेक आभरण हैं ,
हुई कण्ठहार हिंदी !
बढ़कर विजय के पथ पर
अब कहीं कदम न ठहरे ,
जग में पताका यश की
दिग-दिगंत मात फहरे ।
प्रतिपल हृदय का तुझसे
जुड़े तार-तार हिंदी ।।
भारत का , भारती का
शोभन शृंगार हिंदी ,
माँ ! अनेक आभरण हैं ,
हुई कण्ठहार हिंदी !
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...और
...एक ..कहन मुकरी...
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गीत , रुबाई .ग़ज़ल सुनावे
विविध विधा से मन सरसावे
हृदयहार ,माथे की बिंदी
क्या सखि साजन ?? न सखि ‘हिन्दी’
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हिंदी दिवस पर हार्दिक
शुभ कामनाएँ .. :)
ज्योत्सना जी की सरता रचना के लिए बहुत बधाई...और ये पढ़ कर तो सच्ची आनंद आ गया...
ReplyDeleteगीत , रुबाई .ग़ज़ल सुनावे
विविध विधा से मन सरसावे
हृदयहार ,माथे की बिंदी
क्या सखि साजन ?? न सखि ‘हिन्दी’
प्रियंका
प्रतिपल हृदय का तुझसे
ReplyDeleteजुड़े तार-तार हिंदी ।।
sundar evam sarthak kavya .......
shubhkamnayen .
आपको यह बताते हुए हर्ष हो रहा है के आपकी यह विशेष रचना को आदर प्रदान करने हेतु हमने इसे आज के ब्लॉग बुलेटिन - हिंदी को प्रणाम पर स्थान दिया है | बहुत बहुत बधाई |
ReplyDeleteबहुत-बहुत सुंदर! शब्द संयोजन, भाव... सभी कुछ बहुत ही खूबसूरती से रचा... ज्योत्स्ना जी!
ReplyDelete"हिन्दी दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ!"
~सादर!!!
जयति हिन्दी, जयति देशं..
ReplyDeleteप्रियंका जी , अनुपमा जी ,तुषार जी ,अनिता जी एवं प्रवीण पाण्डेय जी उत्साह वर्धक प्रतिक्रियाओं के लिए बहुत बहुत आभार आप सभी का |
ReplyDeleteसादर
ज्योत्स्ना शर्मा
सुन्दर भावपूर्ण रचना ...बधाई |
ReplyDeleteसुंदर प्रस्तुति
ReplyDeleteबधाई
युग-चेतना एवं मंजु गुप्ता जी के प्रति हृदय से धन्यवाद |
ReplyDeleteसादर
ज्योत्स्ना शर्मा
युग-चेतना एवं मंजु गुप्ता जी के प्रति हृदय से धन्यवाद |
ReplyDeleteसादर
ज्योत्स्ना शर्मा
युग-चेतना एवं मंजु गुप्ता जी के प्रति हृदय से धन्यवाद |
ReplyDeleteसादर
ज्योत्स्ना शर्मा