1-करो
स्वागत
सुदर्शन
रत्नाकर
बीत रहा है धीरे-धीरे
अस्तित्वहीन होता वर्ष
उखडी-उखड़ी -सी साँसें
हैं
उदासी है छाई,
कहीं नहीं है हर्ष।
मौसम में नमी है
धूप भी अलसाई है
थके- थके दिन हैं,
रातों में ठंडाई है।
जीवन में उत्साह नहीं
बिछुड़ने की परवाह
नहीं।
जा रहा है, तो जाने
दो
जाने दो साथ में
सालभर की नकारात्मक
सोच को
पाँवों में चुभे शूलों
को
अपनी की हुई भूलों
को।
विरोधियों की आवाज़
को
सड़ी -गली मान्यताओं
को
पोंछ दो दर्पण पर पड़ी
धूल को
जिसमें दिखाई नहीं
देता
अपना ही असली चेहरा।
नए वर्ष का अभिनंदन
करो
पुराने को भूल जाओ
नव उमंग, नव क्रांति
मिटाकर मन की भ्रांति
करो स्वागत, उगती नव
किरणों का
फैला दें जो उजास
नव आशाओं का।
-0-
2-पाहुन/-शशि पाधा
द्वारे
इक पाहुन है आया
सुख
सपनों की डलिया लाया
आशाओं की हीरक मणियाँ
विश्वासों
की झिलमिल लड़ियाँ
प्रेम-प्यार के बन्दनवार
सजी-सजी
हर मन की गलियाँ
मंगल
दीप जलें देहरी पर
किरणों
ने नवरंग बिखराया
दूर दिशा से पाहुन आया
नया सवेरा, नई ऊषा में
जीवन की उमंग नई
समय
की धारा के संग बहती
जीवन
की तरंग नई
राग रंग से रंगी दिशाएँ
इन्द्र
धनु से थाल सजाया
नव वर्ष द्वारे है आया
धरती
,सागर, नदिया पर्वत
’स्वागत’ ’स्वागत’ बोल रहे
आगत
के कानों में पंछी
नव
कलरव रस घोल रहे
रोम-रोम बगिया का पुलकित
सृष्टि ने नवगीत है गाया
नव पाहुन द्वारे पर आया।
-0-
3-नववर्ष!
डॉ.सुरंगमा यादव
इक्कीसवीं सदी अब, चौबीस बरस की हो ली
पच्चीसवें वसंती, सपनों ने आँखें खोलीं
खोने की है कसक तो, पाने का सुकूँ भी है
छूने को आसमाँ है, मन में
जुनून भी है
नववर्ष तू दिलों में, संकल्प ऐसा भरना
मुट्ठी में कर लें सागर,मन में गुमान
हो ना।
आशा का संचार करतीं सुंदर कविताएँ। स्वागत नववर्ष । हार्दिक बधाई शशि पाधा जीएनडीयू डॉ सुरंगमा जी । सुदर्शन रत्नाकर
ReplyDeleteसुदर्शन दीदी की बहुत सुंदर संदेश देती प्रभावशाली रचना
ReplyDeleteशशि पौधा जी के नव वर्ष के स्वागत गान ने मन मोह लिया
डॉक्टर सुरंगमा ने बहुत ही सुंदर रूपक बाँधा।
आप सबको नव वर्ष की बहुत-बहुत बधाई मंगल कामनाएँ 💐🌹
आदरणीय सुदर्शन रत्नाकर जी और शशि पाधा जी की अति सुंदर कविताओं के साथ अपनी रचना देखकर अत्यंत प्रसन्न हूँ,हार्दिक आभार और शुभकामनाएँ।
ReplyDeleteतीनों कविताएँ बहुत सुन्दर. सुदर्शन जी, शशि जी और सुरंगमा जी को हार्दिक बधाई. आप सभी को नव वर्ष की हार्दिक मंगलकामनाएँ .
ReplyDeleteसुन्दर | नववर्ष मंगलमय हो |
ReplyDeleteबहुत ही सुन्दर लिखा है आपने।
Deleteहार्दिक बधाई आपको।
तीनों कविताएँ बहुत सुन्दर, सुदर्शन रत्नाकर जी, शशि पाधा जी एवं डॉ. सुरंगमा यादव जी को बहुत बहुत बधाई 💐💐
ReplyDeleteतीनों वरिष्ठ रचनाकारों ने नव वर्ष के सत्कार में सुंदर सृजन किया। हम सब के मन की बात शब्दों में बखूबी पिरो दी। हार्दिक बधाई!!
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ReplyDeleteबहुत सुंदर रचनाएँ।
ReplyDeleteहार्दिक बधाई आदरणीया रत्नाकर दीदी, शशि दीदी और सुरंगमा दीदी को 💐🌷
सादर
सुन्दर प्रस्तुति
ReplyDeleteसभी रचनाकारों ने खूबसूरत अंदाज़ और उत्कृष्ट शब्दों के साथ नववर्ष का स्वागत किया है सभी को बधाई । सविता अग्रवाल “सवि “
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